by 52patti.com Oct 03-2022
निजी या सरकारी बैंक की तरफ से सेविंग अकाउंट पर ब्याज दिया जाता है। सेविंग अकाउंट पर जो ब्याज मिलता है उसपर अकाउंट होल्डर को टैक्स देना पड़ता है। बैंक की तरफ से 10 फीसदी टीडीएस ब्याज पर काटा जाता है।
दरअसल निवेश सलाहकारों का कहना है कि ब्याज पर टैक्स चुकाना होता है। आयकर अधिनियम की धारा 80 TTA के मुताबिक, सभी व्यक्ति 10 हजार तक की टैक्स छूट प्राप्त कर सकते हैं। अगर ब्याज 10 हजार रुपये से कम बनता है तो टैक्स नहीं देना होगा। वहीं सीनियर सिटीजन यानी 60 साल से ज्यादा उम्र के अकाउंट होल्डर को 50 हजार रुपये तक के ब्याज पर टैक्स नहीं चुकाना होता है।
इतना ही नहीं अगर आपकी कुल सालाना आमदनी में उस ब्याज को मिलाने के बाद भी, आपकी सालाना आमदनी इतनी नहीं होती कि उस पर टैक्स देनदारी बन सके तो आप ऐसे में फॉर्म 15G जमा करके बैंक की तरफ से टीडीएस का रिफंड ले सकते हैं।
दरअसल ज्यादातर बैंकों का इंटरेस्ट रेट्स 3 से 4 फीसदी के बीच है। यह फिक्स्ड डिपॉजिट पर मिलने वाले इंटरेस्ट से कम है। एचडीएफसी बैंक के सेविंग्स अकाउंट पर सालाना 3 फीसदी इंटरेस्ट मिलता है। ICICI Bank का इंटरेस्ट रेट भी सालाना 3 फीसदी है। IDFC Bank सेविंग्स अकाउंट पर 4 फीसदी इंटरेस्ट ऑफर करता है। इंडसइंड बैंक सेविंग्स अकाउंट पर 3.5 फीसदी इंटरेस्ट देता है।